शाहजहांपुर। अकीदत से मनाया गंज शहीद बाबा का उर्स, मुल्क की तरक्की व खुशहाली के लिए मांगी गई दुआ।
फै़याज़उद्दीन साग़री\शाहजहांपुर। सूफी बुजुर्ग हजरत गंज शहीद बाबा रहमतुल्लाह अलैह का तीन दिवसीय सालाना उर्स आज यहां मोहल्ला निसर ज़ई जलालनगर स्थित दरगाह पर अकीदत व मोहब्बत के साथ मनाया गया। कुल की महफिल में कुरआन की आयतें पढ़कर मुल्क की खुशहाली व सलामती की दुआ की गई। साथ ही लोगों से औलिया की तालीम के मुताबिक़ जिन्दगी गुजारने पर जोर दिया गया।
रविवार को सुबह नौ बजे कुल शरीफ का आगाज तिलावते कुरआन से हुआ। इसके बाद मौलाना रियाज़ रज़ा अज़हरी ने औलिया-ए-किराम की हयात के ईमान अफरोज़ वाक्यात बताते हुए नेक बनने के साथ ही रसूल पाक की सुन्नतों पर अमल करने पर ज़ोर दिया। उन्होंने शबे बारात की फजीलत बयान की। महफिल में ज़ियाउद्दीन फैजी, अब्दुल मुबीन इस्माईली, अब्दुल कादिर, आफ़रान अली आदि ने नात व मनकबत पेश की। सलाम-ए-मुस्तफा के बाद गंज शहीद मस्जिद के इमाम मौलाना बिलाल रज़ा ने साहिबे उर्स हजरत गंज शहीद बाबा को ईसाले सवाब करते हुए मुल्क की सलामती और तरक्की की दुआ की। इस दौरान जायरीन ने मजार पर गुलपोशी व चादरपोशी कर दुआएं मांगी। महफ़िल ए समा में कव्वाल मासूम हसन साबरी ने सूफियाना कलाम पेश किया। महफिल में हाजी पीर जाकिर अली चिश्ती निजामी, अब्दुल कय्यूम, तालिब खां, शाकिर अली, राशिद हुसैन राही, ज़ीशान सकलैनी, इफ्तेखार, अब्दुल वाजिद, जुनैद, तौसीफ, लियाकत, शानू, बब्बू आदि समेत दर्जनों जायरीन मौजूद रहे। कमेटी के मोहम्मद इसरार, जाबिर अली, सलमान ख़ान, मो. रफी, डा. शाहिद, महबूब सकलैनी, रईस, इरफ़ान, महबूब खान, सलीम आदि व्यवस्थाओं में जुटे रहे।