अयोध्या: यूरिया की काला बाजारी करने वाले तीन निजी उर्वरक विक्रेताओं पर एफआईआर दर्ज
अयोध्या: यूरिया की काला बाजारी करने वाले तीन निजी उर्वरक विक्रेताओं पर एफआईआर दर्ज
सहकारी समिति के 08 सचिवों के खिलाफ प्रशासनिक कार्रवाई, 10 निजी उर्वरक विक्रेता का लाईसेंस निलम्बित, 20 को कारण बताओं नोटिस
अयोध्या।
अयोध्या जनपद में किसानों के सामने यूरिया खाद को लेकर गंभीर संकट खड़ा हो गया है। किसान दर-दर की ठोकरें खा रहे हैं । फिर भी यूरिया नहीं मिल रही है। जिसका सबसे बड़ा कारण यूरिया का प्रोडक्शन कम होना है। यूरिया अभाव के चलते आम लोग परेशान हैं। यूरिया को उपलब्ध कराना शासन और प्रशासन की जिम्मेदारी है। किंतु जब माल ही नहीं रहेगा तो उर्वरक विक्रेता कहां से लाएंगे। यूरिया की कालाबाजारी करने वाले तीन निजी उर्वरक विक्रताओं के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गयी है।
प्रशासन की जांच में सर्वाधिक यूरिया बेचने वाले 20 उर्वरक विक्रेताओं ने उन किसानां के आधार कार्ड पर सर्वाधिक यूरिया क्रय की थी जिन कृषकों के नाम कृषि योग्य भूमि या तो काफी कम है अथवा वह भूमिहीन है। इसी तरह की पास मशीन के दुरुपयोंग का मामला साधन सहकारी समिति के आठ सचिवों के खिलाफ भी मिला। जिसमें उनके खिलाफ प्रशासनिक कारवाई करने का निर्देश डीएम के द्वारा दिया गया है।
जिलाधिकारी ने तहसील व जनपद स्तरीय अधिकारियों की संयुक्त टीम के द्वारा मामले की जांच करायी। इसके बाद जिला कृषि अधिकारी को आठ सचिवों के खिलाफ प्रशासनिक कारवाई व तीन निजी विक्रेताओं के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराने के लिए कहा। जिसमे जिला कृषि अधिकारी ने मेसर्स मिश्रा खाद भण्डार मीरपुर कॉटा, मेसर्स जनता खाद भण्डार, इनायत गंज,रूदौली व मेसर्स जायसवाल उर्वरक भण्डार,मजनाई के विरूद्ध मुकदमा पंजीकृत करा दिया गया है। आधार से उर्वरक विक्री नियमानुसार न करने वालें एवं स्टाक एवं विक्री रजिस्टर अघ्यावधिक न रखने वालें उर्वरक विक्रेताओं के विरूद्ध जिलाधिकारी द्वारा कठोर कार्यवाही करने का निर्देश जिला कृषि अधिकारी को दिया गया । अभी तक 10 निजी उर्वरक विक्रेताओं के लाईसेंस निलम्बित किये गये है तथा 20 उर्वरक विक्रेताओं के खिलाफ कारण बताओं नोटिस दी गयी है।
देव बक्स वर्मा अयोध्या
सहकारी समिति के 08 सचिवों के खिलाफ प्रशासनिक कार्रवाई, 10 निजी उर्वरक विक्रेता का लाईसेंस निलम्बित, 20 को कारण बताओं नोटिस
अयोध्या।
अयोध्या जनपद में किसानों के सामने यूरिया खाद को लेकर गंभीर संकट खड़ा हो गया है। किसान दर-दर की ठोकरें खा रहे हैं । फिर भी यूरिया नहीं मिल रही है। जिसका सबसे बड़ा कारण यूरिया का प्रोडक्शन कम होना है। यूरिया अभाव के चलते आम लोग परेशान हैं। यूरिया को उपलब्ध कराना शासन और प्रशासन की जिम्मेदारी है। किंतु जब माल ही नहीं रहेगा तो उर्वरक विक्रेता कहां से लाएंगे। यूरिया की कालाबाजारी करने वाले तीन निजी उर्वरक विक्रताओं के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गयी है।
प्रशासन की जांच में सर्वाधिक यूरिया बेचने वाले 20 उर्वरक विक्रेताओं ने उन किसानां के आधार कार्ड पर सर्वाधिक यूरिया क्रय की थी जिन कृषकों के नाम कृषि योग्य भूमि या तो काफी कम है अथवा वह भूमिहीन है। इसी तरह की पास मशीन के दुरुपयोंग का मामला साधन सहकारी समिति के आठ सचिवों के खिलाफ भी मिला। जिसमें उनके खिलाफ प्रशासनिक कारवाई करने का निर्देश डीएम के द्वारा दिया गया है।
जिलाधिकारी ने तहसील व जनपद स्तरीय अधिकारियों की संयुक्त टीम के द्वारा मामले की जांच करायी। इसके बाद जिला कृषि अधिकारी को आठ सचिवों के खिलाफ प्रशासनिक कारवाई व तीन निजी विक्रेताओं के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराने के लिए कहा। जिसमे जिला कृषि अधिकारी ने मेसर्स मिश्रा खाद भण्डार मीरपुर कॉटा, मेसर्स जनता खाद भण्डार, इनायत गंज,रूदौली व मेसर्स जायसवाल उर्वरक भण्डार,मजनाई के विरूद्ध मुकदमा पंजीकृत करा दिया गया है। आधार से उर्वरक विक्री नियमानुसार न करने वालें एवं स्टाक एवं विक्री रजिस्टर अघ्यावधिक न रखने वालें उर्वरक विक्रेताओं के विरूद्ध जिलाधिकारी द्वारा कठोर कार्यवाही करने का निर्देश जिला कृषि अधिकारी को दिया गया । अभी तक 10 निजी उर्वरक विक्रेताओं के लाईसेंस निलम्बित किये गये है तथा 20 उर्वरक विक्रेताओं के खिलाफ कारण बताओं नोटिस दी गयी है।
देव बक्स वर्मा अयोध्या